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क्रिकेट के सभी फॉर्मेट में 50 मैच जीतने वाले पहले प्लेयर बने विराट कोहली

अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट में डेब्यू के बाद से लगातार बेहतर प्रदर्शन करते रहे हैं कोहली

भारतीय कप्तान और दुनिया के सर्वश्रेष्ठ बल्लेबाजों में से एक विराट कोहली क्रिकेट के तीनों फॉर्मेट्स में 50 या उससे अधिक जीत हासिल करने वाले पहले क्रिकेटर बन गए हैं, जो आधुनिक क्रिकेट में एक उल्लेखनीय उपलब्धि है। न्यूजीलैंड के खिलाफ दूसरे टेस्ट मैच में जीत कोहली की कप्तान के रूप में 39 वीं टेस्ट जीत थी। जबकि, साल 2011 में टेस्ट डेब्यू के बाद से एक खिलाड़ी के रूप में 50 वीं जीत है।

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वर्तमान समय में क्रिकेट तीनों फॉर्मेट्स में बहुतायत में खेला जा रहा है। लेकिन, दुनिया में ऐसे बहुत कम प्लेयर्स हैं जिन्हें तीनों फॉर्मेट्स में खेलने का मौका मिल सका है। चूंकि, विराट को यह उपलब्धि हासिल करने में अपने डेब्यू के बाद से 10 वर्ष का समय लग गया है। वह भी तब जबकि वह अपने करियर की शुरुआत से ही तीनों फॉर्मेट में खेल रहे हैं। इसलिए, यह कहा जा सकता है कि भविष्य में ऐसे बहुत कम प्लेयर होंगे जो कोहली के इस रिकॉर्ड की बराबरी कर सकें।

विराट कोहली के पदार्पण के बाद से भारत 50-ओवर और 20-ओवर के क्रिकेट में काफी प्रभावशाली टीम बना हुआ है। हालांकि, साल 2013 के बाद से भारत कोई भी आईसीसी ट्रॉफी नही जीत सका है और शुरुआती करियर में भी उन्होंने टेस्ट मैच में काफी हार देखी हैं।

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विराट कोहली ने भारत के लिए ऐसे समय में टेस्ट क्रिकेट में पदार्पण किया जब भारतीय चयनकर्ता बदलाव की तलाश में थे। कोहली उन युवा बल्लेबाजों में से थे, जिन्हें मध्य क्रम की भूमिकाओं के लिए आजमाया जाना था। कोहली ने टीम इंडिया में अपना स्थान तब बनाया था जब कई दिग्गज प्लेयर सन्यास का ऐलान कर रहे थे।

कोहली साल 2012 में ऑस्ट्रेलिया में 4-0 से वाइटवॉश करने वाली भारतीय टीम का हिस्सा थे। इसके अलावा साल 2013 में दक्षिण अफ्रीका में भारत को 1-0 से तथा साल 2014 में इंग्लैंड में 3-1 से बड़ी हार का सामना करना पड़ा था। इतना ही नही, साल 2015 में फिर से भारत को ऑस्ट्रेलिया में 2-0 से हार का सामना करना पड़ा था। लेकिन, जब से उन्होंने भारत की टेस्ट कप्तानी संभाली, उन्होंने भारतीय टेस्ट टीम की किस्मत बदल दी।

विराट कोहली पिछले 10 वर्षों से सभी प्रारूपों में से हैं रन मशीन:

विराट कोहली को ‘कोहली द रन मशीन‘ यूँ ही नही कहा जाता है। वास्तव में उन्होंने, बीते वर्षों में और बाहर भी तमाम गेंदबाजी आक्रमण के विरुद्ध लगातार रन बनाए हैं। यह कोहली ही हैं जो सचिन के 100 शतकों के रिकॉर्ड के करीब हैं। हालांकि, वह इस रिकॉर्ड को तोड़ पाएंगे या नही यह भविष्य के गर्त में छिपा है किंतु वर्तमान समय में विराट की तुलना किसी अन्य बल्लेबाज से न होना ही उनकी वास्तविक महानता का परिचायक है।

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हालांकि, वह अपनी कप्तानी में भारत को कोई भी आईसीसी ट्रॉफी नही जिता सके हैं। यहां तक कि विश्व टेस्ट चैंपियनशिप में बेहतरीन प्रदर्शन करने के बावजूद फाइनल में न्यूजीलैंड के हाथों भारत को हार का सामना करना पड़ा था।

दिलचस्प है कि, पिछले कुछ वर्षों में टी20 क्रिकेट में भी कोहली के नेतृत्व में भारतीय टीम ने इंग्लैंड, ऑस्ट्रेलिया, दक्षिण अफ्रीका और न्यूजीलैंड में द्विपक्षीय सीरीज अपने नाम की थी। लेकिन, हाल ही में यूएई में हुए टी20 विश्वकप में टीम लड़खड़ा गई और सेमीफाइनल से पहले ही बाहर होना पड़ा।इस तथ्य के बावजूद कि विश्वकप नही जीत सके हैं लेकिन उन्होंने अपनी कप्तानी में जितने मैच जीते हैं वह उनके बेजोड़ नेतृत्व का ही प्रतिरूप है।

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